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सही जन्म समय नहीं पता - Don't know birth time
जिनको ज्योतिष का थोड़ा बहुत भी ज्ञान है, वह जानते हैं कि जन्म का समय कुंडली के आकलन करने के लिए कितना महत्व रखता है। हर व्यक्ति को किसी भी विषय की भविष्यवाणी के लिए सटीक जन्म के समय का पता होना चाहिए, यदि आपको सटीक जन्म का समय नहीं पता तो इस बात को ज्योतिषी/Astrologer के सामने जरूर रखें। सही जन्म के समय से भविष्यवाणी भी सही होती है, अन्यथा गलत भविष्यवाणी भी हो सकती है। कुछ ज्योतिषी इस विषय में थोड़ी ढील दे देते हैं और गलत जन्म समय के साथ भविष्यवाणी करने लग जाते हैं। उस भविष्यवाणी पर बिल्कुल भरोसा नहीं किया जा सकता।
सही जन्म समय का अभाव अक्सर ग्रामीण इलाकों में देखा जा सकता है। आम तौर पर सही जन्म समय का ना पता होना लोगों की लापरवाही का नतीजा हो सकता है या फिर किसी अन्य मानव द्वारा खड़ी की गई समस्या के कारण हो सकता है। लेकिन इस स्थिति में कुछ प्रश्न उत्पन्न होते हैं जैसे –
कुंडली में सही जन्म के समय की क्या महत्वता है?
जन्म समय के अभाव में किसी व्यक्ति को क्या करना चाहिए?/ What to do if a person does not know the birth time?
सही जन्न के समय का कैसे पता चलेगा?/ How to get correct birth time?
यदि मेरा जन्म समय सही और सटीक है तो कैसे सत्यापित करें?/ How to verify if my birth time is correct and accurate?
कैसे सुनिश्चित किया जाए कि जन्म समय सही है?/ How to be sure that birth time is correct?
जन्म समय को कैसे सुधारा जाए?/ How to rectify birth time?
जन्म समय को कौन सही/सुधार सकता है?
जन्म समय सुधार क्या है, और यह कैसे किया जाता है?
क्या ज्योतिष जन्म के समय को ठीक करने में मदद कर सकता है?/ Can astrology help in rectifying the birth time?
जन्म समय सुधार की तकनीक क्या हैं?/ What are the techniques of birth time rectification?
वैदिक ज्योतिष में सही जन्म समय की महत्वता/ Importance of correct birth time in Vedic Astrology
ज्योतिष में सही जन्म समय की भूमिका को कोई नहीं बदल सकता है और गलत जन्म समय से की गई भविष्यवाणी का कोई अर्थ नहीं होता है। कुछ चार्ट जैसे डी-60 चार्ट में एक मिनट की भी गलती बहुत बड़ी समस्या को दर्शाती है। लग्न चार्ट भी हर दो घंटे में बदलता है। जिसके कारण ज्योतिषियों में भी एक अविश्वास पैदा होता है। उनका मानना है कि अगर मध्य भाव पुछ/Cusp के पास नहीं है, तो जन्म के समय में कुछ मिनट की गलती को नजरअंदाज भी किया जा सकता है।
आपको यह बता दूं कि जन्म समय की इस समस्या को सिर्फ लग्न या डी-1 चार्ट से ठीक किया जा सकता है। लेकिन इस स्थिति में जातक की कुंडली के बहुत सारे चार्ट का पूर्ण आकलन की आवश्यकता पड़ सकती है। करियर और विवाह संबंधित भविष्यवाणी करने के लिए और चिकित्सा संचालन, आईवीएफ, सिजेरियन जैसे विषय में भी भविष्यवाणी में यह महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। एक दम सटीक भविष्यवाणी के लिए ज्योतिष में शोदश वर्ग (16 चार्ट) की जरूरत पड़ती है, जो जन्म के सटीक जानकारी के बिना नहीं बनती।
वैदिक ज्योतिष में सही जन्म समय की महत्वता/ Importance of correct birth time in Vedic Astrology
ज्योतिष में सही जन्म समय की भूमिका को कोई नहीं बदल सकता है और गलत जन्म समय से की गई भविष्यवाणी का कोई अर्थ नहीं होता है। कुछ चार्ट जैसे डी-60 चार्ट में एक मिनट की भी गलती बहुत बड़ी समस्या को दर्शाती है। लग्न चार्ट भी हर दो घंटे में बदलता है। जिसके कारण ज्योतिषियों में भी एक अविश्वास पैदा होता है। उनका मानना है कि अगर मध्य भाव पुछ/Cusp के पास नहीं है, तो जन्म के समय में कुछ मिनट की गलती को नजरअंदाज भी किया जा सकता है।
आपको यह बता दूं कि जन्म समय की इस समस्या को सिर्फ लग्न या डी-1 चार्ट से ठीक किया जा सकता है। लेकिन इस स्थिति में जातक की कुंडली के बहुत सारे चार्ट का पूर्ण आकलन की आवश्यकता पड़ सकती है। करियर और विवाह संबंधित भविष्यवाणी करने के लिए और चिकित्सा संचालन, आईवीएफ, सिजेरियन जैसे विषय में भी भविष्यवाणी में यह महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। एक दम सटीक भविष्यवाणी के लिए ज्योतिष में शोदश वर्ग (16 चार्ट) की जरूरत पड़ती है, जो जन्म के सटीक जानकारी के बिना नहीं बनती।
आप आउटलुक इंडिया/द वीक्स/हिंदुस्तान टाइम्स में जन्म समय सुधार पर मेरा नवीनतम साक्षात्कार नीचे दिए गए हमारे समाचार अनुभाग से पढ़ सकते हैं।
सही जन्म के समय का कैसे पता करें?/ How to know correct birth time?
इस विषय में जो बीत गया उसके बारे में ना सोचें, आप यह सोचें कि आप इस स्थिति से कैसे बाहर निकल सकते हैं। आप अपने जन्म के समय का पता जन्म समय सुधार प्रक्रिया के जरिए कर सकते हैं। मैं इस विषय को एक उदाहरण के साथ इसी पेज पर बताने वाला हूं। उससे जरूरी अभी यह है कि, क्या उस व्यक्ति की जन्म समय सही है कि नहीं? सही समय की जानकारी कहां से प्राप्त करें: कौन जन्म के समय को सुधार सकता है?/ How to get the correct birth time: who can rectify the birth time? जन्म के समय में सुधार के बाद यह कैसे पता करें कि अब जन्म का समय कैसे सही साबित हो सकता है?
इन सभी प्रश्नों का उत्तर आपको नीचे इस लेख से मिल जाएगा।
जन्म समय सुधार क्या है और जन्म के समय को कौन ठीक कर सकता है?/ What is the birth time rectification & who can rectify the birth time?
जन्म समय सुधार/ Birth time rectification को अर्थ है व्यक्ति के जन्म के समय को सही करना। यह ज्योतिष का एक अनमोल उपकरण है। लेकिन एक बात और कहने की जरूरत है कि बहुत सारे ज्योतिष या तो इस प्रक्रिया को या तो नजरअंदाज करते हैं या फिर वह इस प्रक्रिया से अंजान होते हैं। ज्योतिष में अलग अलग जन्म समय सुधार की तकनीक है। मैंने इन सभी प्रक्रिया का गहन अध्ययन किया है। मैं इन सभी को उदाहरण के साथ आपको समझाउंगा।
एक व्यक्ति मेरे पास आया था, जिसकी जन्म तिथि 24 जनवरी 1975 थी, जन्म का समय 9:30 – 9:45, और जन्म स्थान नई दिल्ली था। इस मामले में बहुत सारे ज्योतिष औसतन तौर पर 9:35 को जन्म का समय मान लेते हैं और इसी आधार पर भविष्यवाणी करते हैं। लेकिन वह भविष्यवाणी सही नहीं होती। जैसे की पहले ही आपको बता चुका हूं, एक मिनट की देरी गलत भविष्यवाणी करती है और साथ में वह घातक भी साबित हो सकते हैं।
जन्म समय सुधार क्या है और जन्म के समय को कौन ठीक कर सकता है?/ What is the birth time rectification & who can rectify the birth time?
जन्म समय सुधार/ Birth time rectification को अर्थ है व्यक्ति के जन्म के समय को सही करना। यह ज्योतिष का एक अनमोल उपकरण है। लेकिन एक बात और कहने की जरूरत है कि बहुत सारे ज्योतिष या तो इस प्रक्रिया को या तो नजरअंदाज करते हैं या फिर वह इस प्रक्रिया से अंजान होते हैं। ज्योतिष में अलग अलग जन्म समय सुधार की तकनीक है। मैंने इन सभी प्रक्रिया का गहन अध्ययन किया है। मैं इन सभी को उदाहरण के साथ आपको समझाउंगा।
एक व्यक्ति मेरे पास आया था, जिसकी जन्म तिथि 24 जनवरी 1975 थी, जन्म का समय 9:30 – 9:45, और जन्म स्थान नई दिल्ली था। इस मामले में बहुत सारे ज्योतिष औसतन तौर पर 9:35 को जन्म का समय मान लेते हैं और इसी आधार पर भविष्यवाणी करते हैं। लेकिन वह भविष्यवाणी सही नहीं होती। जैसे की पहले ही आपको बता चुका हूं, एक मिनट की देरी गलत भविष्यवाणी करती है और साथ में वह घातक भी साबित हो सकते हैं।
मै जन्म समय सुधार/Birth Time Rectification के इन तीन तकनीक में से एक का प्रयोग करता हूं जो डी-1 चार्ट के संदर्भ में नीचे दिखाया गया है। मैं डी-9, डी-10, और डी-60 चार्ट का प्रयोग करता हूं। अब, नीचे गणना को देखें कि कैसे लगन 15 मिनट के भीतर बदल जाता है:
जन्म का समय
जन्म का समय |
डी-1 लग्न चिन्ह |
डी-9 लग्न चिन्ह |
डी-10 लग्न चिन्ह |
डी-60 लग्न चिन्ह |
09:30 |
11 |
1 |
6 |
7 |
09:31 |
11 |
1 |
6 |
8 |
09:32 |
11 |
1 |
6 |
9 |
09:33 |
11 |
2 |
6 |
9 |
09:34 |
11 |
2 |
6 |
10 |
09:35 |
11 |
2 |
7 |
11 |
09:36 |
11 |
2 |
7 |
12 |
09:37 |
11 |
2 |
7 |
12 |
09:38 |
11 |
2 |
7 |
1 |
09:39 |
11 |
2 |
7 |
2 |
09:41 |
11 |
2 |
7 |
3 |
09:42 |
11 |
2 |
7 |
4 |
09:43 |
11 |
3 |
7 |
4 |
09:44 |
11 |
3 |
8 |
5 |
09:45 |
11 |
3 |
8 |
6 |
इस चार्ट की सहायता से आप देख सकते हैं कि डी-1 चार्ट 15 मिनट में नहीं बदला है लेकिन बाकी सारे चार्टों की संख्या इन 15 मिनट के दौरान बदल गई है। लेकिन दुर्भाग्य से ज्यादातर ज्योतिष डी-1 चार्ट के आधार पर ही भविष्यवाणी करते हैं, इसलिए उनकी भविष्यवाणी पूर्ण रूप से खराब नजर आती है। उन्हें भी किसी भी भविष्यवाणी करने से पहले इस चार्ट को देखना चाहिए।
कैसे गलत जन्म समय के आधार पर भविष्यवाणी विफल होती है?/ How does the wrong birth time affect predictions?
जो भी भविष्यवाणी डी-1 चार्ट के आधार पर की जाती है, उस स्थिति में आत्म-चार्ट, कर्म चार्ट और सफलता के चार्ट को देखने की आवश्यकता होती। जरा सोचिए कि किसी ज्योतिषी ने इन सभी चार्ट का आकलन किया लेकिन इसका अनुभव ना होने के कारण उसने कहीं गलती कर दी, तो आपको इस स्थिति में बहुत सारी समस्या उठानी पड़ सकती है।
इसलिए यह बहुत जरूरी हो जाता है कि सही चार्ट बनाया जाए। मैं, डॉ विनय बजरंगी, कर्म सुधारक, बता सकता हूं कि जन्म समय सुधार में क्या समस्या है और इसको कैसे ठीक किया जा सकता है।
कैसे गलत जन्म समय के आधार पर भविष्यवाणी विफल होती है?/ How does the wrong birth time affect predictions?
जो भी भविष्यवाणी डी-1 चार्ट के आधार पर की जाती है, उस स्थिति में आत्म-चार्ट, कर्म चार्ट और सफलता के चार्ट को देखने की आवश्यकता होती। जरा सोचिए कि किसी ज्योतिषी ने इन सभी चार्ट का आकलन किया लेकिन इसका अनुभव ना होने के कारण उसने कहीं गलती कर दी, तो आपको इस स्थिति में बहुत सारी समस्या उठानी पड़ सकती है।
इसलिए यह बहुत जरूरी हो जाता है कि सही चार्ट बनाया जाए। मैं, डॉ विनय बजरंगी, कर्म सुधारक, बता सकता हूं कि जन्म समय सुधार में क्या समस्या है और इसको कैसे ठीक किया जा सकता है।
ऊपर दिए गए उदाहरण में जातक को बताया गया था कि उसकी कुंडली में राजयोग है, जिसका अर्थ है कि उसको धन संबंधी समस्या कभी नहीं होगी और वह अपने जीवन में धन को लेकर कभी परेशान नहीं होगा। उसे यह भी बताया गया कि वह विदेश में भी जाकर बस सकता है और उसकी कुंडली में व्यापार का भी योग है। जिससे उसकी जिंदगी में खुशियां हमेशा आती रहेंगी। उसे एक बात का और आश्वासन दिया गया था कि उसकी एक हंसता खेलता परिवार होगा।
लेकिन उस व्यक्ति के जीवन में ऐसा कुछ भी नहीं हुआ क्योंकि यह भविष्यवाणी सिर्फ डी-1 चार्ट के आधार पर की गई थी और दूसरे चार्ट जैसे – डी-9, डी-10, और डी-60 पर ध्यान नहीं दिया गया था। आप ऐसा भी कह सकते हैं कि जन्म के समय में गलती को नजरअंदाज करने से यह भविष्यवाणी गलत साबित हुई थी।
एक ज्ञानी ज्योतिषी ही सही चार्ट को पढते हैं और स्थिति के अनुसार जन्म समय सुधार/Birth Time Rectification करते हैं। जब हम जन्म समय सुधार/Birth Time Rectification प्रक्रिया से गुजरते हैं, तो सही जन्म के समय का पता चल सकता है। यदि ऐसा होता तो उस व्यक्ति को एक अच्छी नौकरी करने के निर्णय में वह सहायता करता, ना कि विदेश जाकर व्यापार करने का सपना दिखाता है। वह अभी तक अविवाहित था, लेकिन सही भविष्यवाणी उसे सही समय पर विवाह करने में सहायता कर सकती थी।
नीचे हमारे समाचार अनुभाग में 'जन्म समय सुधार' पर आउटलुक इंडिया में प्रकाशित मेरा साक्षात्कार पढ़ सकते हैं।
जन्म समय सुधार की महत्वता/ Importance of birth time rectification
वास्तव में जातक की आत्मा डी-9 या नवमांश चार्ट में बसती है। ऊपर दिए गए चार्ट में आपने देखा ही होगा कि डी-9 में लग्न तीन बार बदला था। इसके बाद सफलता का आकलन डी-10 या दशमेश चार्ट से किया जाता है। और यह भी पंद्रह मिनट के दौरान तीन बार बदलता है।
सफलता का फल और जातक के जीवन में उसी फल के प्रभाव के बारे में डी-60 चार्ट से पता चल सकता है। और यह भी लगभग हर मिनट बदलता है। इसलिए यदि हम सिर्फ डी-1 या लग्न चार्ट पर भरोसा करें, तो हम वास्तव में खुद धोखा दे रहे हैं।
जन्म समय सुधार की महत्वता/ Importance of birth time rectification
वास्तव में जातक की आत्मा डी-9 या नवमांश चार्ट में बसती है। ऊपर दिए गए चार्ट में आपने देखा ही होगा कि डी-9 में लग्न तीन बार बदला था। इसके बाद सफलता का आकलन डी-10 या दशमेश चार्ट से किया जाता है। और यह भी पंद्रह मिनट के दौरान तीन बार बदलता है।
सफलता का फल और जातक के जीवन में उसी फल के प्रभाव के बारे में डी-60 चार्ट से पता चल सकता है। और यह भी लगभग हर मिनट बदलता है। इसलिए यदि हम सिर्फ डी-1 या लग्न चार्ट पर भरोसा करें, तो हम वास्तव में खुद धोखा दे रहे हैं।
बहुत सारे लोग आपको मिल जाएंगे जो या तो सिर्फ डी-1 चार्ट के आधार पर भविष्यवाणी करते हैं, या फिर वह इस बात से अंजान होते हैं कि गलत जन्म समय की जानकारी के कारण भी आपकी भविष्यवाणी गलत साबित हो सकती है। मैं यहां उन ज्योतिषियों को दोष दूंगा जो गलत जन्मतिथि के आधार पर भविष्यवाणी करते हैं। आप उदाहरण के तौर पर ऊपर दिए गए किस्से को भी देख सकते हैं।
जन्म समय को कैसे ठीक करें - जन्म समय सही है तो इसे कैसे प्रमाणित करें?/ How to rectify birth time – How to verify if birth time is correct?
उनकी कुंडली देखकर मैंने उस व्यक्ति की जन्म कुंडली/Birth Chart को सही तरीके से बनाया था। मैंने उसकी जन्म कुंडली से संबंधित 13 चार्ट को खोला था जो उस जातक के जीवन के अलग अलग पहलू को बताते हैं। इस पूरी प्रक्रिया में तकरीबन 40 मिनट लगे, फिर जाकर मैंने उस व्यक्ति की सही जन्म समय का पता लगाया था। यह एक बहुत लंबा समय लेने वाली प्रक्रिया थी, लेकिन अंत के परिणाम देखकर मुझे खुशी बहुत हुई। क्योंकि यदि सही चार्ट जीवन के प्रति सही दृष्टिकोण की ओर इशारा करते हैं और उनका अनुसरण करते हैं, तो जातक शायद ही कभी विफल नहीं होता।
तभी उस जातक ने प्रश्न पूछा कि इस बात का कैसे पता लगाएं कि हमारा जन्म का समय सटीक है। अब, मैंने उसे सुधारित जन्म समय के आधार पर उनके जीवन की दो घटनाओं को बताया। यह आपके लिए आवश्यक नहीं है, लेकिन वह अभिभूत हो गए थे। उस व्यक्ति को सही जन्म समय के साथ साथ एक अच्छी भविष्यवाणी भी मिल गई। इसलिए अगर आपको अपना सही जन्म के समय का पता नहीं है तो आप मेरे पास आ सकते हैं।
मेरे अभ्यास में, मैं हमेशा एक या दो घटनाओं का जिक्र करता हूं, जिससे सही समय का पता चल जाता है। आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि कम से कम 50% मामलों में कुछ मिनट की गलती होती ही है। जो भी व्यक्ति भविष्यवाणी के लिए मेरे पास आते हैं, मैं उनके जन्म समय को ठीक करता हूं, और साथ में मैं अपनी भविष्यवाणी की शुद्धता को भी देखता हूं।
जन्म समय को सुधारने के लिए किस प्रक्रिया का प्रयोग होता है?/ What is the process to rectify birth time?
उपरोक्त स्पष्टीकरण के साथ मैं इस प्रक्रिया को समझाने का प्रयास करुंगा। मैं सत्र के शुरू करने से पहले जातकों को एक प्रश्न पत्र देता हूं, जिसमें उन्हें कहा जाता है कि वह अपने जीवन की घटनाओं को एक टेबल में लिखे। हो सकता है कि उन सभी घटनाओं का जिक्र समय के अनुसार ना हो क्योंकि हर व्यक्ति के लिए सब चीजें याद रखना संभव नहीं है। लेकिन वह उनका अनुमानित तिथि या महीना बता सकते हैं। इसके बाद सत्र की शुरुआत होता है। फिर मैं उन घटनाओं से जुडे चार्ट का आकलन करता हूं। जैसे जैसे सत्र चलता जाता है, वैसे वैसे मैं जातक से बात करते करते एक एक चार्ट बंद करता जाता हूं और जन्म के समय के और नजदीक चला जाता हूं। जैसे ही मैं उन सभी घटनाओं को चार्ट में डाल देता हूं, तब मेरे पास विशिष्ट जन्म का समय आ जाता है। इसके प्रक्रिया के बाद 100% सही जन्म के समय का पता चल जाएगा। इसके बाद में उस जातक के जीवन के घटित एक घटना के बारे में बताता हूं। यदि उस व्यक्ति के जीवन में वह घटना घटी होती है तो मुझे और उस व्यक्ति दोनों के अंदर आत्मविश्वास बढ जाता है कि हम सही दिशा में जा रहे हैं। इसके बाद जन्म कुंडली के दूसरे पहलुओं पर बात करना शुरू करते हैं।
जन्म समय सुधार की तकनीक / Techniques of Birth time rectification
जन्म समय सुधार के लिए बहुत सारी तकनीक है। सूर्य पद्दयति, चंद्र पद्दयति, मंगल पद्दयति, नवमांश चंद्र पद्दयति, इतयादी ही वह तकनीक है। कारगर जन्म समय सुधार लग्न पर आधारित होता है। इस लेख में उपर मैने लग्न के आधार पर जन्म समय सुधार/ birth time rectification को विस्तार में समझाया है।
जन्म समय को सुधारने के लिए किस प्रक्रिया का प्रयोग होता है?/ What is the process to rectify birth time?
उपरोक्त स्पष्टीकरण के साथ मैं इस प्रक्रिया को समझाने का प्रयास करुंगा। मैं सत्र के शुरू करने से पहले जातकों को एक प्रश्न पत्र देता हूं, जिसमें उन्हें कहा जाता है कि वह अपने जीवन की घटनाओं को एक टेबल में लिखे। हो सकता है कि उन सभी घटनाओं का जिक्र समय के अनुसार ना हो क्योंकि हर व्यक्ति के लिए सब चीजें याद रखना संभव नहीं है। लेकिन वह उनका अनुमानित तिथि या महीना बता सकते हैं। इसके बाद सत्र की शुरुआत होता है। फिर मैं उन घटनाओं से जुडे चार्ट का आकलन करता हूं। जैसे जैसे सत्र चलता जाता है, वैसे वैसे मैं जातक से बात करते करते एक एक चार्ट बंद करता जाता हूं और जन्म के समय के और नजदीक चला जाता हूं। जैसे ही मैं उन सभी घटनाओं को चार्ट में डाल देता हूं, तब मेरे पास विशिष्ट जन्म का समय आ जाता है। इसके प्रक्रिया के बाद 100% सही जन्म के समय का पता चल जाएगा। इसके बाद में उस जातक के जीवन के घटित एक घटना के बारे में बताता हूं। यदि उस व्यक्ति के जीवन में वह घटना घटी होती है तो मुझे और उस व्यक्ति दोनों के अंदर आत्मविश्वास बढ जाता है कि हम सही दिशा में जा रहे हैं। इसके बाद जन्म कुंडली के दूसरे पहलुओं पर बात करना शुरू करते हैं।
जन्म समय सुधार की तकनीक / Techniques of Birth time rectification
जन्म समय सुधार के लिए बहुत सारी तकनीक है। सूर्य पद्दयति, चंद्र पद्दयति, मंगल पद्दयति, नवमांश चंद्र पद्दयति, इतयादी ही वह तकनीक है। कारगर जन्म समय सुधार लग्न पर आधारित होता है। इस लेख में उपर मैने लग्न के आधार पर जन्म समय सुधार/ birth time rectification को विस्तार में समझाया है।
ज्योतिष में इस प्रक्रिया को करने के बहुत सारे तरीके हैं, और ज्योतिषी उनमें से किसी भी तरीके का प्रयोग अपनी क्षमता अनुसार कर सकता है। लेकिन मैं आपको पहले ही बता दूं कि इस प्रक्रिया को सही तरीके से करने में बहुत सारे अनुभव और क्षमता की आवश्यकता होती है।
जैसे की हम पहले बता चुके हैं कि जन्म समय सुधार के लिए बहुत सारे तरीके होते हैं। प्राथमिक तौर पर कुंडली में चंद्रमा की नियुक्ति किसी विशिष्ट समय घटना को दर्शाता है। इस स्थिति में राशि की स्थिति को भी देखा जाता है। यह प्रक्रिया थोड़ी लंबी है और आपको ठहराव की जरूरत रहती है। जन्म सुधार के लिए सबसे सटीक तरीका यह है कि आपको अपने पिछले जीवन के बारे में विश्लेषण करना चाहिए। यदि फिर भी कोई संदेह है आपके मन में तो आप मुझसे संपर्क कर सकते हैं।
इस विषय को खत्म करते हुए मैं यह कहना चाहूंगा कि आपके लिए पूर्व दिशा लाभदायक दिशा हो सकती है, लेकिन गलत जन्म समय के साथ कुंडली पश्चिम दिशा की ओर इशारा करती है। यहीं पर वैदिक ज्योतिष/Vedic Astrology में जन्म के सही समय की महत्व को बताया गया है। यदि आपको अपनी जन्मतिथि पर रत्ती भर भी संदेह होता है तो आपको जन्म समय सुधार की तरफ देखना चाहिए। अन्यथा यह जन्म कुंडली/ horoscope आपके लिए वर्दान साबित हो सकती है। यह अधिक विवेकपूर्ण है जब कुंडली विश्लेषण नीचे दिए गए तरीकों से संदर्भित करता है –
- सही विषय या कोर्य का चुनाव
- नौकरी और व्यापार में चुनाव
- परिवार और मित्र के बीच संबंध का आकलन
- व्यवसाय का प्रकार चुनना
- संपत्ति के योग को समझना
- जीवन साथी का चुनाव
- रोग की शक्ति को समझना
- पिछले जन्म के कर्मों का आकलन
मैं आपको सलाह देना चाहूंगा कि आप अपने आप इस बात की पुष्टि ज़रूर करें की आपका जन्म का समय ठीक है कि नहीं। जब भी आप किसी ज्योतिषी से बात करें या उनका सत्र लें, तो उनसे अपने जन्म की जानकारी के आधार पर बीते हुए जीवन के किसी भी एक घटना के बारे में पूछें। यदि वह सही बता देते हैं तो आप आगे के आकलन के लिए सत्र को जारी रखें, अन्था आपके लिए बेहतर होगा कि इस विषय में आपको किसी और ज्योतिषी से परामर्श ले लेना चाहिए। यदि आप जन्म की जानकारी लाने में असमर्थ है, तो तुरंत भविष्यवाणी ना करवाएं। ऐसा इसलिए क्योंकि भविष्यवाणी करते समय डी-9, डी-10, डी-60 चार्ट का आकलन करते हैं, और इसमें जन्म की जानकारी का प्रयोग बहुत अनिवार्य होता है। एक गलत जानकारी आपको समस्या में डाल सकता है। आपको इस विषय में यूट्यूब पर भी एक वीडियो मिल जाएगी, जिसे आप यहां क्लिक करके देख सकते हैं।
इसलिए आपको डरने की आवश्यकता नहीं है। यदि आपके पास सही जन्म का समय नहीं है तो आप हमारे दफ्तर में कॉल करके जन्म समय सुधार सत्र/Birth time rectification के लिए आवेदन भी कर सकते हैं।
नवीनतम ज्योतिष समाचार: डॉ विनय बजरंगी
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